नमस्कार दोस्तो, मेरा नाम हृकेश है (बदला हुआ नाम)। मैं जोधपुर में रहता हूँ। मेरी उम्र 48 वर्ष है।
मैं शुरू से ही बहुत रंगीन मिजाज हूं और अन्तर्वासना पर करीब ग्यारह साल से कहानियों का आनन्द प्राप्त कर रहा हूँ।
मेरी हाईट छ: फिट तीन इंच हैं और शरीर भरा पूरा है। रंग ज्यादा काला भी नहीं है। मेरे लंड का साईज कभी नापा नहीं, पर लंड लेने वाली को पूरी मस्ती देता हूँ।
मुझे आंटियां और भाभियां चोदना ज्यादा पसंद है क्योंकि उन्हें चोदने में कोई खतरा नहीं होता है।
वैसे तो मैंने जिंदगी में बहुत इंजाय किया है। विदेशों में भी बहुत मस्ती मारी सिंगापुर, मलेशिया, मॉरीशस, थाईलैंड में एक से एक लौंडियां चोदी हैं।
मगर मैं अपनी बीवी को बहुत अधिक नहीं चोद पाया हूँ। उसका कारण ये था कि मेरी पत्नी अकसर बीमार रहती थी, तो उसके साथ सेक्स कभी कभार ही कर पाता था।
एक बार मैं जयपुर जाने वाला था। मैंने एक डेटिंग एप पर अकाउंट खोला हुआ है। मेरी वहां पर खुलकर चैटिंग होती थी।
जयपुर टूर से पहले मैंने अपनी उस प्रोफाइल पर स्टेटस डाला कि मैं दो दिन के लिए जयपुर में ठहरूंगा, किसी को मस्ती चाहिए तो हाजिर हूं।
मैं ट्रेन पकड़ कर जयपुर के लिए रवाना हुआ।
रास्ते में एक मैसेज आया कि आप कब तक जयपुर पहुंचने वाले हैं।
मैंने वापस रिप्लाई किया कि आप कौन और कहां से हैं?
तो उसने जवाब दिया कि मैं जयपुर से हूँ।
मैंने पूछा- क्या चाहिए आपको?
तो उसने कहा- मस्ती।
फिर उसने मेरा मोबाइल नम्बर मांगा, तो मैंने पूछा- आप कौन हैं?
उसका जवाब आया कि मैं आदमी हूँ।
मुझे शॉक लगा और मैंने कहा- सॉरी, मुझे आदमियों में दिलचस्पी नहीं है।
फिर वो बोला- सर मेरी बात तो सुनिए।
मैं- बोलो!
वो- सर मेरी एक फंतासी है।
मैं- क्या फंतासी है?
वो- यहां पर नहीं, सर आप अपना मोबाइल नम्बर दो, फिर कॉल पर बात करते हैं।
मैंने कुछ सोचकर अपन मोबाइल नम्बर दे दिया।
करीब पंद्रह मिनट बाद एक अनजाने नम्बर से फोन आया।
मैं- हैलो!
वो- सर पहचाना!
मैं- नहीं।
वो- अरे अभी मैसेज किया था वो …
मैं- ओह … हां बोलो।
उससे काफी देर तक इधर उधर की बातें हुईं।
उसने मुझसे पूछा कि आप क्या करते हैं?
तो मैंने बताया कि मैं एक बिजनेसमैन हूं। इसी सिलसिले में मैं जयपुर, दिल्ली, गुजरात, महाराष्ट्र जाता रहता हूं।
तो उसने कहा- वाओ मैं भी बिजनेस मैन हूँ।
मैं- ओके।
वो- सर जयपुर में कहां ठहरोगे आप!
मैं- सिंधीकैम्प थ्री स्टार होटल।
वो- ठीक है सर, मैं आता हूँ।
मैंने कहा कि क्या फंतासी है आपकी?
तो उसने बड़े खुल कर बताया कि मैं मेरी बीवी को दूसरे से चुदते हुए देखना चाहता हूँ।
उसकी बात से मेरे मन में लड्डू फूटने लगे। तो मैंने कहा- मुझे विश्वास नहीं हो रहा है … तुम गे तो नहीं हो।
वो बोला- मैं गे तो नहीं, पर मुझे लंड चूसने का शौक है।
मुझे लगा कि ये साला गांडू है और मुझे अपनी बीवी की झूठी कहानी बता कर खुद गांड मरवाने की फिराक में है।
मैंने पूछा- अभी आप कहां पर हो?
उसने जवाब दिया कि अभी तो घर पर ही हूँ।
मैंने कहा- अपनी पत्नी से बात करवा सकते हो?
वो कुछ सोचकर बोला- हां।
फिर कुछ देर बाद एक प्यारी सी आवाज आई- हैलो।
मैंने कहा- क्या हाल है जी।
वो बोली- ठीक हैं जी।
इस महिला से कुछ देर इधर उधर की बातें हुईं और उसने पति को फोन पकड़ा दिया।
उधर से फिर उसी आदमी की आवाज़ आई- ठीक है सर!
मैंने कहा- ओके।
अभी मुझे जयपुर पहुंचने में एक घंटे से ज्यादा समय बाकी था।
मैंने कहा कि जयपुर पहुंचते ही फोन करता हूँ।
उसने कहा- ओके।
हम दोनों ने फोन बंद कर दिया।
मेरा दिल जोर-जोर से धड़क रहा था क्योंकि ये पहली बार होने जा रहा था कि एक पति अपनी पत्नी को मुझसे चुदवा रहा है।
खैर … मैं जयपुर पहुंच गया और स्टेशन से बाहर आकर उसको फोन लगाया।
वो- हैलो सर … पहुंच गए!
मैंने कहा- हां।
उसने कहा- आप होटल में रूम बुक करवाकर आराम करें। हम लोग करीब नौ बजे के आस पास पहुंचेंगे।
मैंने ओके कहा और फोन कट कर दिया।
फिर मैंने सोचा कि यार अभी तो शाम छह ही बजे हैं। इतना टाइम पास कैसे होगा।
मैंने होटल पहुंच कर उसको मैसेज किया और रूम नम्बर भेज दिया। जैसे तैसे एक मस्त सी ब्लू फिल्म देख कर टाइम काटा।
करीब पौने नौ बजे उसका फोन आया- हम रवाना हो गए हैं। आप रिशेप्सन पर आ जाओ।
मैं नीचे गया और वहां इंतजार करने लगा। मैं सिगरेट के कश लगाते हुए इंतज़ार करने लगा।
इतने में एक होंडा सिटी कार रुकी।
उसमें से मस्त परी सी … पिंक कलर की साड़ी पहने हुए अप्सरा उतरी।
मैंने सोचा ये कोई और होगी।
फिर कार पार्क करके एक आदमी उसकी बांहों में हाथ डालकर रिशेप्सन की ओर बढ़ा।
मैं काउंटर के नजदीक को गया, तो उन्होंने मेरे रूम नम्बर का पूछा।
पीछे से मैंने कहा- जिसका आप पूछ रहे हैं … वो मैं हूं।
वो दोनों घूमकर मुझे देखने लगे। आदमी मुझसे मुखाबित हुआ और मुझसे हाथ मिलाकर बोला- मैं सुलतान (बदला हुआ नाम)।
मैंने मुस्कराहट के साथ उससे गर्मजोशी से हाथ मिलाया और हम सब रूम की ओर लिफ्ट में जाने लगे।
मैं उस परी को तिरछी नज़र से देख रहा था।
हम तीनों रूम में पहुंचे और सोफे पर बैठ गए।
सुलतान ने मुझसे अपनी बेगम का परिचय करवाया- ये मेरी वाइफ रोशना है (नाम बदला है)।
रोशना ने मेरी तरफ अपना मुलायम हाथ बढ़ा दिया- हैलो जी।
मैंने बड़े प्यार से हाथ मिलाया और उसकी आंखों में झांकते हुए मुस्कराहट बिखेर दी।
उस मस्त माल ने नजरें झुका लीं।
अब मैं आपको उस जोड़े का पूरा परिचय करवा देता हूँ।
सुलतान की उम्र कोई चालीस के आस पास थी और उसकी बर्गम की उम्र अड़तीस थी, पर वो लगती तीस की थी।
इन दोनों की एक बेटी थी।
फिर मैं सुलतान से बोला- हां सर क्या हुक्म है।
सुलतान ने कहा- अरे सर हुक्म क्या … आपको मैंने सब बता दिया था ना!
मैं उठकर रोशना के पास सोफे पर बैठ गया।
ये देख कर सुलतान ने अपने बैग से टीचर ब्रांड शराब की बोतल निकाली और मुझसे पूछा- चलेगी क्या?
मैंने रोशना के कंधे पर हाथ रख कर कहा- वो भी चलेगी और ये भी दौड़ेगी।
रोशना हंस दी।
तो हम तीनों के बीच हंसी के गुब्बारे फूट पड़े और रूम में खुशनुमा माहौल हो गया।
मैंने कमरे के फोन से वेटर को बोलकर स्नैक्स सोडा वगैरह मंगवाए और महफिल का दौर शुरू हो गया।
हम दोनों ने एक एक पैग लगाए।
फिर मैंने पूछा- रोशना जी, आप पैग नहीं लेतीं क्या?
तो वो बोली- नहीं … मैं कभी कभी बीयर ले लेती हूं।
मैं- अरे तो आप बोल देतीं।
मैंने तुरंत फोन लगा कर वेटर को बुलाया और उससे जल्दी दो बीयर लाने को कहा।
वेटर दो मिनट में बीयर और मग ले आया। मैंने मग में रोशना को बीयर का पैग बनाकर दे दिया।
अब चीयर्स के साथ हमारा दौर शुरू हो गया।
धीरे धीरे शराब का शुरूर चढ़ने लगा। मैंने भी अपना हाथ रोशना की चिकनी जांघ पर रख दिया और फेरने लगा।
उन लोगों का ये सब पहली बार था और मेरा भी कपल्स के साथ पहली बार सेक्स था।
तो हम सब कुछ हिचकिचा रहे थे।
किन्तु शराब अपना रंग दिखा रही थी। शराब की वजह से थोड़ी हिचकिचाहट कम हो गई थी।
मैंने रोशना को अपनी तरफ खींचा, तो वो मेरे सीने से टिक गई।
मैं उसके कंधे से हाथ डाल कर उसकी दूसरी तरफ के कंधे पर अपना हाथ फेरने लगा। बीच बीच में मैं उसकी चूचियों को भी सहला देता था।
इससे उसकी सांसें तेज होने लगीं। मगर वो मेरे सीने से टिकी हुई बीयर का मग लिए मजा लेती रही।
फिर मैंने उससे कहा- रोशना कमऑन।
उसने मेरी तरफ देखा, तो मैं होंठ से होंठ भिड़ाकर उसके साथ किसिंग करने लगा।
पहले तो वो कुछ हिचकी मगर एक मिनट के बाद रोशना भी मेरा साथ देने लगी।
सामने बैठा सुलतान ये सब बड़े गौर से देखते हुए अपने होंठों पर जीभ फेर रहा था।
मैंने बड़ी फुर्ती में काम आगे बढ़ाते हुए अपना एक हाथ रोशना के मम्मों से लगा दिया।
एक हाथ से मैं उस परी के मम्मों को मसलते हुए उसके होंठों का रसपान कर रहा था।
अब उसने भी अपना मग टेबल पर रख दिया था।
अचानक सुलतान उठ कर करीब आया और अपनी बीवी रोशना की साड़ी खोलने लगा।
मैं अलग होकर ये सब देखते हुए पैग बनाकर धीरे धीरे चुस्की लेने लगा।
सुलतान ने जल्द ही रोशना का सब उतार दिया।
अब रोशना सिर्फ एक पिंक ब्रा पैंटी में रह गई थी।
सुलतान ने सिगरेट सुलगाई और मुझे आंख मारते हुए इशारा कर दिया।
मैं रोशना के पास आ गया और उसकी ब्रा के ऊपर से ही उसके रसीले मम्मों को दबाते हुए मसलने लगा।
अब कमरे में माहौल गर्म हो गया था।
मैंने अपने दांतों से ब्रा का हुक खोलकर अलग कर दी। रोशना के 38 साईज के मस्त दूध अनावृत हो गए थे। उसके मम्मों पर पिंक कलर के निप्पल एकदम कड़क दिखने लगे थे। मैं उन पर टूट पड़ा और मैंने रोशना के दोनों दूध चूस चूस कर लाल कर दिए।
फिर मैं अपना एक हाथ पैंटी में डालकर उसकी सफाचट चूत को सहलाने लगा। अब रोशना के मुँह से कामुक सिसकारियां निकल रही थीं।
मैंने रोशना को बांहों में उठाकर पंलग पर लेटा दिया व उसकी पैंटी के ऊपर से ही चूत को चूमने लगा था।
उसकी चुत की मस्त खुशबू आ रही थी।
मैंने उसकी पैंटी को उतार दिया और जीभ से चटखारा लेकर चुत चाटने लगा।
च्चप्पड़ च्चप्पड़ करके मैंने चूत को चाटा, तो रोशना ने अपनी गांड उठा कर चुत मेरे मुँह में घुसेड़ दी।
कुछ ही पलों में उसकी चूत नमकीन नमकीन पानी छोड़ने लगी।
मुझे चूत का पानी बहुत टेस्टी लगता है, मैं पूरा चुतरस चाट गया।
उधर सुलतान भी अपने कपड़े उतारने लगा था। उसे देख कर मैंने भी खड़े होकर अपने कपड़े उतारे और अगले ही पल मैं सिर्फ एक अंडरवियर में था।
सुलतान ने अंडरवियर में ही अपना लंड मसलते हुए सोफे पर बैठ कर व्हिस्की पीना शुरू कर दी थी।
तभी रोशना ने मेरा अंडरवियर खींचकर उतार दिया, जिससे मेरा फनफनाता हुआ कड़क लंड फुंफकारने लगा।
रोशना ने मेरा लंड देखा, तो उसके मुँह से निकल गया- वाओ … व्हाट ए टूल। आज इस मस्त मूसल लंड से मेरी चुदने की तमन्ना पूरी हो जाएगी।
उस पर बियर काम करने लगी थी और उसकी भाषा एक रंडी जैसी होने लगी थी।
मैंने अपना लंड रोशना के गालों पर फेरा व होंठों पर फेर कर उसकी आंखों में देखा।
तो रोशना ने धीरे से अपने होंठ खोलकर लंड पर जीभ फिराना शुरू कर दिया।
उसी समय मैंने उसका एक दूध तेजी से दबा दिया, तो रोशना की आह निकली और उसका मुँह खुल गया।
मैंने झट से अपना लंड मुँह के अन्दर कर दिया।
वो मेरा लंड धीरे धीरे चूसने लगी।
मेरा लंड आगे से मोटा है, इसलिए मेरा पूरा टोपा उसके मुँह में अन्दर नहीं जा पा रहा था।
फिर भी वो लंड चूसने की कोशिश कर रही थी।
मैंने कुछ जोर लगाकर जैसे तैसे उसका मुँह खुलवाया और आधा लंड मुँह में डाल दिया।
इससे वो ‘घोंघ्घोह घों ।।’ करने लगी। मैंने लंड बाहर निकालकर गालों पर फेर दिया।
फिर हम दोनों 69 की पोजीशन में आ गए। मैं उसकी चूत सहला कर चाटने लगा। वो लंड को चाटने लगी।
चपर चपड़ ।। की आवाज आने लगी।
अचानक दो मिनट वो फिर से अकड़ने लगी और भलभला कर झड़ गयी।
मैंने अपना मुँह हटाकर हाथ से उसका पानी उसकी चूत और गांड पर मसल दिया।
अब वो सुस्ताने लगी, उधर सुलतान अपना लंड हिला रहा था।
रोशना पेशाब करने बाथरूम में चली गयी।
मैं भी अन्दर चला गया और उसकी चूत पर निशाना साधकर चूत पर मूतने लगा।
हम दोनों का मिश्रित मूत साथ में निकलने लगा।
वो हंसने लगी।
मैंने पूछा- आपके हबी का काम नहीं करता क्या?
वो विषाद भरे स्वर में धीमे से बोली- गांडू है माँ का लौड़ा। साले का खड़ा ही नहीं होता।
मैंने पूछा- तो औलाद कैसे हो गई?
वो हंस कर बोली- आपके जैसे की मदद से पैदा कर ली थी। मगर उस टेसू को यही मालूम है कि उसके लौड़े की दम से हुई है।
मैं समझ गया कि ये पक्की रांड है।
मैंने पूछा- फिर ये राजी कैसे हो गया?
उसने कहा- वो छोड़ो और मेरी चुत का मजा लो।
मैंने कुछ नहीं कहा, तो बोली कि इसको लंड चूसने की आदत है गांड भी मरवा लेता है। बस मैंने पटा लिया।
तो मैंने कहा- उसे झेलती ही क्यों हो?
वो उंगली से नोट गिनने का इशारा करके बोली- माल बहुत है हरामी के पास।
मैं हंस दिया।
फिर वापस पंलग पर आकर मैंने एक फ़रमाइश रखने की बात कही।
रोशना बोली- क्या?
मैंने बताया कि मैं तुम्हारी नाभि में शराब डालकर पीना चाहता हूँ।
तो उसने कहा- ओह … शौक से पीजिए।
ये बात सुलतान को भी पसंद आई क्योंकि उसने आज तक न कभी देखा था और ना ही सुना था कि नाभि में शराब डालकर भी पी जाती है।
मैंने बोतल उठाई और नीट शराब से नाभि भर दी। रोशना की नाभि काफी गहरी थी, तो दस एमएल माल उसमें आ गया।
मैंने बड़े प्यार से जीभ की नोक से शराब पीने लगा। ये देखकर सुलतान ने भी नाभि में शराब डालकर पीने की इच्छा बताई।
वो भी ऐसे ही पीने लगा।
ऐसे ही हम दोनों शराब पीकर रोशना को गर्म करने लगे।
रोशना से अब रहा नहीं जा रहा था, तो उसने कहा- पहले एक बार चोद दो प्लीज़!
मैंने रोशना को सीधा लेटा दिया और उसके ऊपर चढ़ गया। उसकी टांगें चौड़ी करके लंड का सुपारा चूत की फाकों पर रगड़ने लगा।
रोशना की चूत गीली होने लगी और वो नीचे से गांड उचकाने लगी।
मैं जोर लगाकर लंड अन्दर डालने की कोशिश कर रहा था।
मगर लंड का टोपा आगे से मोटा होने की वजह से दिक्कत आ रही थी।
मैंने लंड पर थूक लगाकर जोर लगाया तो लंड का टोपा अन्दर घुस गया।
रोशना की चीख निकल गई- आमां ऽहहहह मर गई!
मैं थोड़ा रुक गया, फिर धीरे धीरे अन्दर बाहर करते हुए पूरा लंड चुत में घुसा दिया।
रोशना आहऽह हहऽह कर रही थी।
मैं उसकी टांगें चौड़ी करके हल्के हल्के से चोदने लगा।
कुछ देर बाद वो भी गांड उठाने लगी।
मैंने थोड़ी स्पीड बढ़ा दी जिससे कमरे में सेक्सी संगीत बजने लगा ‘फच … फच ।।’
उधर ये सब देखकर सुलतान ज्यादा देर टिक ना सके; उसने पिचकारी छोड़ दी और बाथरूम में चला गया।
इथर मैंने पोजीशन बदलकर रोशना को घोड़ी बनाया और पीछे से लंड पेल लार उसे चोदने लगा।
इस दरम्यान रोशना ने दो बार पानी छोड़ दिया था।
तभी अचानक सुलतान बाथरूम से बाहर आया और नीचे लेटकर मेरे आण्ड चाटने लगा।
मुझे दोहरा मजा आ रहा था, इसीलिए मैं भी ज्यादा देर ना टिक सका।
जैसे ही मैंने लंड चुत से बाहर निकाला, सुलतान ने मेरे लंड को अपने मुँह में ले लिया और चूसने लगा।
मेरे लंड से गुब्बार फूटा और दनादन पिचकारी छोड़ने लगा।
मेरा पूरा रस सुलतान ने पी लिया और चाटकर लंड साफ कर दिया।
चुदाई के बाद हम सब थक कर सुस्ताने लगे।
थोड़ी देर सुस्ताने के बाद सुलतान मेरे लंड से खेलने लगा।
मेरी आंखें बंद थीं और मेरी बांहों में नंगी रोशना थी। मैं वाकयी जन्नत का सुख महसूस कर रहा था।
इसके बाद खाने का ऑर्डर दिया और पैग का दौर शुरू हुआ।
रोशना बीयर की एक बोतल खाली कर चुकी थी। मैंने दूसरी खोलकर पैग बनाया तो उसने मना कर दिया।
मैंने कहा- क्या हुआ डार्लिंग?
तो बोली- आप साथ दो तो पियूंगी।
मैंने कहा एक ही गिलास में लेंगे।
उसने हामी भर दी।
मैंने व्हिस्की का पैग बनाया तो वो मुस्कुराने लगी।
हम दोनों एक ही गिलास से पीने लगे और दो पैग खाली कर दिए।
इसके बाद खाना हुआ और खाने के बाद गांडू की बीबी की चुदाई का दौर फिर से शुरू हो गया।
जो देर रात तक चला।
फिर सुलतान व रोशना ने मेरे से विदा होने की इजाजत मांगी।
मेरा मन तो नहीं कर रहा था … पर कर भी क्या सकता था।
उन दोनों ने बारी बारी से गले लगा कर विदा ली और चले गए।
साथियो, इसके बाद उनका मोबाइल बंद आ रहा है। उनसे दुबारा मिलना नहीं हुआ। आज भी उन दोनों को याद कर रहा हूँ। कभी ना कभी तो जरूर मिलेंगे।
तो यह थी मेरी सच्ची गांडू की बीबी की चुदाई कहानी।
Friends mera naam Vikram hai. Main ek middle class family se hoon aur Faridabad mein rehta hun. Mere ghar mein main, mummy, papa hain bas. Papa ka apna kaam hai. Main kabhi kaam pe papa ke saath to kabhi masti yahi mera kaam hai. Meri mom house wife hain. Ye kahani meri maa ki hai. Meri maa ka naam Sapna hai, unki age 48 years aur figure 36 34 38 hai.. Ab main kahani pe aata hun aapko jyada na pakate hue.Ye khani meri maa or mere facebook friend ki hai. Meri maa ek normal house wife thi is kahani se pehle. Ye kahani 3 month pehle ki hai. Karib 6.. Months pehle main aapne ek facebook friend ko apne ghar leke aaya tha or use apni mom dad se milaya tha. Wo humare ghar se karib 5 km door hi tha to hum dono mein bahut achchhi dosti ho gayi or us ka mere ghar aana jaana ho gaya. Wo kabhi kabhi mere na hone par bhi aane laga. Kabhi meri maa use market mein milti to wo maa ki help bhi kar deta tha. Dheere dheere wo maa se bahut close ho gaya or maa ne bhi use apna mobile nu...
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